ब्रेकिंग न्‍यूज

राज्य स्तरीय वर्चुअल आमुखीकरण : प्रमुख शासन सचिव ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज ने की राजीव गांधी जल संचय योजना की समीक्षा


- 15 सितम्बर तक वित्तीय स्वीकृतियां निकालें एवं 2 अक्टूबर से कार्य शुरू करायें

- 2 सी.ई.ओ. व 6 अधीक्षण अभियन्ताओं को कारण बताओ नोटिस

जयपुर, 7 सितम्बर। ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग की प्रमुख शासन सचिव श्रीमती अर्पणा अरोरा ने मंगलवार को सी.ई.ओ. जल ग्रहण एवं भू-संरक्षण के अधीक्षण अभियन्ताओं एवं संबद्व विभागों के जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ राज्य स्तरीय वर्चुअल आमुखीकरण कार्यशाला में राजीव गांधी जल संचय योजना की विस्तृत समीक्षा की व योजना के क्रियान्वन में ढ़िलाई बरतने वाले अधिकारियों के विरूद्ध सख्त कार्यवाही के निर्देश देते हुए कार्यो में गति लाने के निर्देश दिये।

श्रीमती अरोरा ने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री राजीव गांधी जल संचय योजना को लेकर बहुत गम्भीर हैं। उन्होंने योजना को गति देने पर जोर दिया है। उन्होंने जलग्रहण एवं भू-संरक्षण के आयुक्त श्री अभिषेक भगोतिया को धीमी प्रगति वाले 10 जिलों की समीक्षा करने के निर्देश दिये। साथ ही हर 15 दिन में जलग्रहण एवं भू-संरक्षण के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक करने व उनके सम्मुख आ रही समस्याओं को दूर करने व योजना का प्रभावी क्रियान्वन सुनिश्चित करने व जलग्रहण एवं भू-संरक्षण के अधिकारियों को योजना के बारे में प्रशिक्षण देने सहित अधिकारियों को निरन्तर क्षेत्र में दौरे करने के निर्देश दिये।

उन्होंने आयुक्त जलग्रहण एवं भू-संरक्षण को निर्देश दिये कि योजना का प्रभावी क्रियान्वन सुनिश्ति करने हेतु संबंधित विभागों के अधिकारी जिलों में दौरे कर कार्यो को गति दे सकें इस हेतु मुख्य सचिव की ओर से एक पत्र विभागाध्यक्षों को भिजवाये जाने का अनुरोध किया जाये।

श्रीमती अरोरा ने मुख्य कार्यकारी अधिकारी चित्तौड़गढ व करौली को कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश देते हुए कहा कि कार्य में कोताही बरतने वाले अधिकारियों की एसीआर में उसका उल्लेख किया जायेगा।

प्रमुख सचिव ने कहा कि 2 अक्टूबर से प्रशासन गांवों के संग अभियान चलाया जायेगा। इसे देखते हुए योजना हेतु गठित जिला स्तरीय समिति बैठकों, प्रशिक्षण कार्यक्रमों को आयोजित करें, पंचायती राज जन प्रतिनिधियों व आम जन की भागीदारी बढा कर जल संचय जैसे पुनित कार्य को गति मिल सके व प्रदेश में भू-जल का स्तर बढ सके व प्रदेश में खुशहाली आ सके।

उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे योजना के तहत बकाया कार्यो की तकनीकी व वित्तीय स्वीकृतियां और टेण्डर 15 तारीख तक जारी कर दें व कार्य शुरू होने के बाद साप्ताहिक समीक्षा सहित कार्य की गुणवत्ता पर जोर दें। उन्होंने योजना के तहत अब तक सर्वश्रेष्ठ प्रर्दशन करने वाले जिलों बांसवाड़ा, डूंगरपुर, बीकानेर व नागौर के सीईओ व उनकी टीम की सराहना की। 

उन्होंने जल संरक्षण व संग्रहण के प्रति जागरूकता लाने व व्यापक जन सहयोग लेने हेतु सभी लाईन विभागों धार्मिक समूहों व्यवसाहियक व अन्य संबद्ध पक्षों की 10 से 14 सितम्बर तक जिला स्तर पर आमुखीकरण कार्यशालाए आयोजित करने, 2 से 10 अक्टूबर तक होर्डिग्स फ्लैक्स या बैनर लगाने, 15 से 30 अक्टूबर तक जल संरक्षण पखवाड़ा मनाने व ब्लॉक स्तर पर 15 से 20 सितम्बर तक संबंधित विभागों धार्मिक समूहों, दानदाताओं, भामाशाहों, जेसीबी, पोकलेड, टेक्टरर्स आदि के मालिकों व ठेकेदारों आदि की आमुखीकरण कार्यशालाएं व ग्राम पंचायत व ग्राम स्तर पर रात्री चौपाल, ग्रामसभा व श्रमदान दिवस आदि आयोजित करने के निर्देश भी दिये।

No comments