मानसून की तैयारियों की समीक्षा बैठक : अतिवृष्टि होने पर राहत कार्य आपसी समन्वय से तत्काल प्रारम्भ हों - जिला कलक्टर
- आवश्यक रेस्क्यू उपकरणों की व्यवस्था, बांधों, एनिकटों की मरम्मत, नालों की सफाई, जल्द बाढ नियंत्रण कक्ष स्थापित करने सहित कई निर्देश
जयपुर, 10 जून। जिला कलक्टर श्री अन्तर सिंह नेहरा ने गुरूवार को जिले में आगामी मानसून की तैयारियों के सम्बन्ध में विभिन्न विभागों के अधिकारियों की बैठक लेकर निर्देश दिए कि मानसून के दौरान रेस्क्यू कार्य की आवश्यकता होने पर बिना क्षेत्राधिकार की परवाह करे सभी सम्बन्धित विभाग आपसी समन्वय से त्वरिस्त रेस्क्यू कार्य प्रारम्भ करें।
श्री नेहरा ने निर्देश दिए कि नगर निगम, जेडीए, सिंचाई, जल संसाधन, सिविल डिफेंस एवं अन्य सभी सम्बन्धित विभाग अतिवृष्टि होने पर भूमि कटाव और जलभराव से निपटने एवं रेस्क्यू ऑपरेशन्स के लिए आवश्यक उपकरणों की उपलब्धता सूची तैयार रखें। विभाग अपने यहां बाढ नियंत्रण कक्ष स्थपित कर अपनी-अपनी कार्ययोजना बनाकर जिला स्तर पर प्रेषित कर दें एवं पर्याप्त मात्रा में मिट्टी के कट्टे, पम्प, मड पम्प, नाव, नाविक, गोताखोर एवं अन्य मानव एवं तकनीकी संसाधनों की व्यवस्था कर लें। मानसून के दौरान आवश्यकता होने पर रेस्क्यू कार्य तत्काल रूप से प्रारम्भ हो जाना चाहिए। उस समय क्षेत्राधिकार या संसाधनों की कमी के आधार पर देरी नहीं की जानी चाहिए।
जिला कलक्टर ने पिछले वर्ष के अनुभव के आधार पर आवश्यक राहत संसाधनों की संख्या बढाने के लिए भी निर्देशित किया। उन्होंने कहा कि नगर निगम एवं विभिन्न विभागों द्वारा बनाए जाने वाले बाढ नियंत्रण कक्षों पर पूरी जानकारी रखने वाले उत्तरदायी अधिकारियों को ही लगाएं।
उन्होंने कहा कि जयपुर शहर में कई लो लाइन इलाकों एवं कच्ची बस्तियों में हर बार जलभराव होता है। यहां डेडिकेटेड पम्प एवं अन्य साधनोें की व्यवस्था रखी जाए। सभी उपखण्ड अधिकारी एवं नगरपालिकाओं के कार्यकारी अधिकारी सर्वे कर उनके यहां ऎसे स्थान पहले ही चिन्हित कर लें। उन्होंने रेस्क्यू के दौरान शरणस्थल के रूप में स्कूली भवनों एवं अन्य जगह को चिन्हित करने एवं आवश्यकता होने पर शरणार्थियों के लिए भोजन व्यवस्था के भी निर्देश दिए।
जिला कलक्टर श्री नेहरा ने कहा कि जयपुर शहर एवं सभी नगरपालिकाओं में नालों की सफाई के कार्य को तेज गति से पूरा कर लिया जाए। उन्होंने इसके लिए जयपुर शहर में अतिरिक्त जिला कलक्टर, उपखण्डों में एसडीएम एवं बडे़ ग्रामीण क्षेत्र में बीडीओ को इसे वैरिफाई करने के निर्देश दिए। श्री नेहरा ने कहा कि विभिन्न प्रकार के निर्माण कार्य के दौरान खोदी गई सड़कों को अच्छी तरह कंक्रीट से भर दिया जाए जिससे बारिश में मिट्टी बहने से दुर्घटनाएं नहीं हों।
उन्होंने पीएचईडी के अधिकारियों को जलापूर्ति लाइनों के रखरखाव, लीकेज पर नजर रखने एवं आवश्यकतानुसार टेंकर तैयार रखने, जेवीवीएनएल अधिकारियों को ढीले विद्युत तार कसने, खुले पडे़ मीटर बॉक्स के तारों को सुरक्षित करने एवं विद्युत आपूर्ति मेंं व्यवधान पर त्वरित रेस्पांस के लिए निर्देशित किया। उन्होंने मानसून के दौरान सड़कों को मोटरेबल रखने के लिए सानिवि अधिकारियों को निर्देश दिए इस पर बताया गया कि ब्लॉक स्तर पर टीमें बना दी गई हैं।
उन्होंने सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग को सभी बांधों एवं एनीकट की जांच, मरम्मत एवं पंचायत समितियों को तकनीकी सहायता उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। जिला कलक्टर श्री नेहरा ने उपखण्ड अधिकारियों, बीडीओ, सिविल डिफेंस, पुलिस, एसडीआरएफ, सेना, वन विभाग, नगर निगम, जेडीए एवं अन्य कई विभागों के अधिकारियों को भी मानसून के दौरान आवश्यकता होने पर राहत कार्यों के सम्बन्ध में निर्देश प्रदान किए।
बैठक में मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीमती पूजा पार्थ भी शामिल हुईं। अतिरिक्त जिला कलक्टर दक्षिण श्री शंकरलाल सैनी ने भी विभिन्न विभागों के अधिकारियों को मानसून की तैयारियों के सम्बन्ध में सम्बोधित किया।
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