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चार विधानसभा क्षेत्रों में 158 करोड़ के विकास कार्यों का लोकार्पण एवं शिलान्यास : चुनौतियों के बावजूद नहीं आने दी विकास में कमी - मुख्यमंत्री


जयपुर, 19 फरवरी। मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत ने कहा कि तमाम विपरीत परिस्थितियों एवं चुनौतियों के बावजूद राज्य सरकार ने विकास कार्यों में कमी नहीं आने दी। करीब 2 वर्ष के कार्यकाल में ही हमने जन-घोषणा पत्र की 55 प्रतिशत से अधिक घोषणाओं को धरातल पर उतारा है। हमारा प्रयास है कि प्रदेश के हर विधानसभा क्षेत्र में बिना किसी राजनीतिक भेदभाव के समग्र विकास हो। इस दिशा में आज हमने वल्लभनगर, सहाड़ा, राजसमंद और सुजानगढ़ विधानसभा क्षेत्रों के लिए 158 करोड़ रूपए की लागत के 178 विकास कार्यों का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया है।

श्री गहलोत शुक्रवार को मुख्यमंत्री निवास पर वीसी के माध्यम से 33 करोड़ 87 लाख रूपए की लागत के 52 विकास कार्यों के लोकार्पण एवं 124 करोड़ रूपए के 126 विकास कार्यों के शिलान्यास समारोह को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने इन चारों विधानसभा क्षेत्रों के दिवंगत विधायकों मास्टर भंवरलाल मेघवाल, श्री कैलाश त्रिवेदी, श्रीमती किरण माहेश्वरी एवं श्री गजेन्द्र सिंह शक्तावत का स्मरण करते हुए कहा कि हमारी सरकार इन विधायकों द्वारा जनता से किए गए वादों को जरूर पूरा करेगी। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार विकास से जुड़ी आपकी हर आवश्यकता का पूरा ध्यान रखेगी। मैंने चारों जिलों के प्रभारी मंत्रियों को भी निर्देश दिए हैं कि वे नियमित दौरा कर जनता की आकांक्षाओं को पूरा करें।

श्री गहलोत ने कहा कि जब-जब हमारी सरकार रही प्रदेश में शिक्षा, चिकित्सा, सड़क सहित आधारभूत ढांचे को मजबूत करने का काम हुआ है। राजीव गांधी सेवा केन्द्रों के माध्यम से घर बैठे लोगों को आसानी से सरकारी सेवाएं सुलभ हो रही हैं। आज राजस्थान बेहतर सड़कों तथा विकास के मामले में देश के किसी भी विकसित राज्य से कम नहीं है। बीते करीब 1 साल से कोरोना के संकट का सामना हम प्रदेश की जनता के सहयोग और मजबूत इच्छाशक्ति के साथ कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी पूर्व सरकार के समय भीलवाड़ा को चंबल का पानी पहुंचाने की पहल हुई और यहां की पानी की समस्या का स्थायी समाधान हुआ। राजसमंद के लिए बाघेरी का नाका बांध बना। इसी प्रकार हमारी पुरजोर मांग है कि प्रदेश के 13 जिलों की पेयजल समस्या को दूर करने के उददेश्य से ईस्टर्न राजस्थान कैनाल प्रोजेक्ट (ईआरसीपी) को केन्द्र सरकार राष्ट्रीय महत्व की परियोजना घोषित करे। इसके लिए प्रदेश के सभी सांसद भी प्रधानमंत्री से आग्रह करें।

श्री गहलोत ने कहा कि हमारी सरकार ने प्रदेश में रिफाइनरी जैसी महत्वाकांक्षी परियोजना की आधारशिला रखी। पूर्ववर्ती सरकार के समय चार साल तक इस परियोजना पर काम आगे नहीं बढ़ सका। हमारी सरकार आने के बाद इस परियोजना के काम को हमने गति दी है। हमारा प्रयास है कि निर्धारित समय में रिफाइनरी का काम पूरा हो।

विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी ने कहा कि श्री गहलोत के नेतृत्व में सामाजिक सुरक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य हुआ है। एक संवेदनशील मुख्यमंत्री के रूप में उन्होंने एक विशेष पहचान बनाई है। उन्होंने कहा कि जिस तरह से तकनीक का विकास हुआ है उसे देखते हुए युवा पीढ़ी को नए विजन के साथ गवर्नेंस से जोड़ना होगा। उन्होंने क्वालिटी एजुकेशन पर भी जोर दिया।

नगरीय विकास मंत्री श्री शांति धारीवाल ने कहा कि प्रदेशभर में स्वायत्त शासन विभाग के माध्यम से आधारभूत ढांचे को मजबूत करने का काम किया जा रहा है। वल्लभनगर, सहाड़ा, राजसमंद और सुजानगढ़ विधानसभा क्षेत्रों के लिए भी विभिन्न परियोजनाओं को मंजूरी दी गई है। हमारा प्रयास है कि यहां के लोगों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध हों।

जलदाय मंत्री श्री बीडी कल्ला ने कहा कि जिन कार्यों का आज लोकार्पण एवं शिलान्यास हुआ है, उनमें से कई पेयजल परियोजनाएं हैं। विभाग का पूरा प्रयास रहेगा कि जिन योजनाओं का शिलान्यास हुआ है वे समय पर पूरी हों ताकि लोगों को इनका लाभ जल्द से जल्द मिल सके।

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार ने कोविड-19 के साथ-साथ टीकाकरण का भी बेहतर प्रबंधन किया है। पूरे देश में इसकी सराहना हो रही है। टीकाकरण के मामले में भी हम देश में अग्रणी पायदान पर हैं।

अल्पसंख्यक मामलात मंत्री श्री शाले मोहम्मद ने कहा कि प्रदेश में मदरसों के आधुनिकीकरण की दिशा में प्रभावी काम हो रहा है। इससे बच्चों को गुणवत्तायुक्त तालीम मिल सकेगी। उन्होंने कहा कि मदरसों में स्मार्ट क्लासरूम और उन्हें कंप्यूटर शिक्षा से जोड़ने पर हम आगे बढ़े हैं।

परिवहन मंत्री श्री प्रताप सिंह खाचरियावास से कहा कि डीएमएफटी फंड का स्थानीय विकास कार्यों में उपयोग सुनिश्चित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जनप्रतिनिधियों के सुझावों के आधार पर इस फंड के माध्यम से इन क्षेत्रों में स्वास्थ्य, पेयजल, शिक्षा आदि कार्यों को गति दी जा रही है।

सहकारिता मंत्री श्री उदय लाल आंजना ने कहा कि राजसमन्द जिले में विकास की भरपूर संभावनाएं हैं। हमारी सरकार यहां के औद्योगिक विकास को गति दे रही है। इस क्षेत्र में खनिज संपदा का उपयोग भी विकास कार्यों के लिए कर युवाओं को रोजगार से जोड़ा जा रहा है।

शिक्षा राज्यमंत्री श्री गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि मुख्यमंत्री के नेतृत्व में राज्य सरकार ने पहले साल में वित्तीय कुप्रबंधन की गंभीर चुनौती तथा दूसरे साल में कोरोना महामारी जैसे दो संकटों का सफलता से सामना किया है। उन्होंने कहा कि विगत दो वर्षों में स्कूलों के क्रमोन्नयन, महात्मा गांधी इंग्लिश मीडियम स्कूल सहित क्वालिटी एजुकेशन के क्षेत्र में अभूतपूर्व काम हुआ है।

उच्च शिक्षा राज्यमंत्री श्री भंवरसिंह भाटी ने कहा कि जनप्रतिनिधि के रूप में मास्टर भंवरलाल मेघवाल ने सुजानगढ़ क्षेत्र के विकास को नए आयाम दिए। उनका असामयिक निधन अपूरणीय क्षति है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार इस क्षेत्र के विकास में कोई कमी नहीं रखेगी। चिकित्सा राज्यमंत्री डॉ. सुभाष गर्ग ने विकास कार्यों के लिए संबंधित विधानसभा क्षेत्रों की जनता को बधाई दी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत की सजगता से प्रदेश में बेहतरीन कोविड प्रबंधन के साथ ही विकास कार्यों को आगे बढ़ाया जा रहा है।

सूचना एवं जनसम्पर्क आयुक्त श्री महेन्द्र सोनी ने संचालन करते हुए कहा कि राजसमंद क्षेत्र में 76 करोड़ 75 लाख के 109 कार्यों का शिलान्यास एवं 8 करोड़ 67 लाख रूपए के 4 कार्यों का लोकार्पण, वल्लभनगर में 3 करोड़ 50 लाख रूपए के 8 कार्यों का लोकार्पण एवं 25 लाख रूपए के एक कार्य का शिलान्यास, सुजानगढ़ में 1 करोड़ 75 लाख के तीन कार्यों का शिलान्यास एवं 3 करोड़ 46 लाख के 9 लोकार्पण और सहाड़ा में 45 करोड़ 31 लाख के 13 कार्यों का शिलान्यास तथा 18 करोड़ 24 लाख के 31 कार्यों का लोकार्पण किया गया है। इनमें प्रमुख रूप से पेयजल, चिकित्सा, सड़क निर्माण, शिक्षा एवं ग्रामीण विकास से संबंधित कार्य हैं।

इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य सचिव जलदाय श्री सुधांश पंत, प्रमुख शासन सचिव गृह श्री अभय कुमार, प्रमुख शासन सचिव खान श्री अजिताभ शर्मा, प्रमुख शासन सचिव पीडब्ल्यूडी श्री राजेश यादव, प्रमुख शासन सचिव ऊर्जा श्री दिनेश कुमार सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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