दुग्ध उत्पादकों को हेलमेट वितरण कार्यक्रम : सड़क दुर्घटना में होने वाली हर मौत करती है, विचलित पचास फीसदी की कमी लाएंगे - मुख्यमंत्री
जयपुर, 9 जुलाई। मुख्यमंत्री
श्री अशोक
गहलोत ने
कहा कि
राज्य सरकार
प्रदेश में
सड़क दुर्घटनाओं
के कारण
होने वाली
मौतों की
संख्या पर
चिंतित है
और इसमें
50
प्रतिशत तक
कमी लाने
के लिए
कार्ययोजना बनाएगी।
उन्होंने कहा
कि इसके
लिए जल्द
ही सभी
संबंधित विभागों
की बैठक
बुलाई जाएगी
और सड़क
सुरक्षा को
अनिवार्य रूप
से स्कूली
पाठ्यक्रम का
हिस्सा बनाया
जाएगा।
श्री
गहलोत गुरूवार
को मुख्यमंत्री
निवास से
वीडियो कांफ्रेंस
के जरिए
भीलवाड़ा जिला
दुग्ध उत्पादक
सहकारी संघ
लि. के माध्यम
से दुग्ध
उत्पादकों को
हेलमेट वितरण
कार्यक्रम को
संबोधित कर
रहे थे।
मुख्यमंत्री ने
दो पशुपालकों
श्री भंवरलाल
जाट तथा
श्री नानूराम
कुमावत को
सड़क सुरक्षा
अग्रदूत के
रूप में हेलमेट
पहनाकर इस
कार्यक्रम की
शुरूआत की।
इसके तहत
15
हजार पशुपालकों
को भीलवाड़ा
डेयरी द्वारा
हेलमेट वितरित
किए जाएंगे।
श्री
गहलोत ने
कहा कि
सड़क दुर्घटना
में होने
वाली प्रत्येक
मौत विचलित
करने वाली
होती है।
पूरा परिवार
इससे बिखर
जाता है
और जिस
पीड़ा से गुजरता
है उसकी
हम कल्पना
भी नहीं
कर सकते
हैं।
उन्होंने
कहा कि
राज्य सरकार
लक्ष्य बनाकर
प्रयास करेगी
जिससे प्रदेश
में सड़क
दुर्घटनाओं में
प्रतिवर्ष होने
वाली दस
हजार मौतों
की संख्या
में कमी
लाकर इसे
आधा किया
जा सकेगा।
उन्होंने निर्देश
दिए कि
रोड सेफ्टी
को लेकर
जल्द ही
एक उच्च
स्तरीय बैठक
बुलाई जाए।
श्री
गहलोत ने
कहा कि
बीते कुछ
समय से
राज्य में
सड़कों की
स्थिति बेहतर
हुई है, लेकिन इन
पर तेज
रफ्तार से
दौड़ते वाहनों
के कारण
दुर्घटनाएं भी
बढ़ी हैं।
ऎसे में
पुलिस और
परिवहन सहित
अन्य संबंधित
विभाग सड़क
सुरक्षा को
लेकर बड़े
रूप में
जागरूकता अभियान
चलाएं।
इसके
लिए जिलों
में स्वयंसेवी
संगठनों के
सहयोग से
रोड सेफ्टी
को लेकर
सेमिनार एवं
अन्य गतिविधियां
आयोजित की
जाएं। उन्होंने
संभागीय एवं
जिला मुख्यालयों
पर अच्छे
ड्राइविंग इंस्टीट्यूट
खोलने पर
भी बल
दिया। उन्होंने
कहा कि
सड़क दुर्घटनाओं
में अकाल
मृत्यु के
शिकार दुपहिया
वाहन चालक
अधिक होते
हैं। यदि
वे हेलमेट
पहनकर वाहन
चलाएं तो
दुर्घटना के
असर को
काफी हद
तक कम
किया जा
सकता है।
परिवहन
मंत्री श्री
प्रताप सिंह
खाचरियावास ने
कहा कि
परिवहन विभाग
सड़क दुर्घटनाओं
को रोकने
के लिए संकल्पबद्ध
है। प्रदेश
में मोटरयान
अधिनियम-2019 लागू
करने के
पीछे राज्य
सरकार की
मंशा यही
है कि
लोगों को
दुर्घटनाओं का
शिकार होने
से बचाया
जा सके।
सरकार ने
जनहित को
सर्वोपरि रखते
हुए अपने
क्षेत्राधिकार में
तर्कसंगत आधार
पर जुर्माना
राशि का
निर्धारण किया
है।
कृषि
एवं पशुपालन
मंत्री श्री
लालचन्द कटारिया
ने पशुपालकों
की जीवन
रक्षा के
लिए भीलवाड़ा
डेयरी संघ
द्वारा की
गई इस
अभिनव पहल
की सराहना
करते हुए
कहा कि
अन्य दुग्ध
उत्पादक सहकारी
संघों को
भी इससे
प्रेरणा मिलेगी।
गोपालन
मंत्री श्री
प्रमोद जैन
भाया ने
कहा कि
राजस्थान कॉपरेटिव
डेयरी फैडरेशन
समाजसेवा के
ऎसे कार्यों
में आगे
बढ़कर मदद
करेगा। पशुपालन
राज्यमंत्री श्री
भजनलाल जाटव
ने कहा
कि ये
अग्रदूत अन्य
लोगों को
भी अपने
जीवन की
रक्षा के
लिए सुरक्षित
वाहन संचालन
की प्रेरणा
देंगे।
भीलवाड़ा
जिला दुग्ध
उत्पादक सहकारी
संघ के
अध्यक्ष एवं
विधायक श्री
रामलाल जाट
ने कहा
कि भीलवाड़ा
डेयरी द्वारा
करीब तीन
हजार दुग्ध
उत्पादकों को
रोड सेफ्टी
का प्रशिक्षण
दिया गया
है। उन्होंने
कहा कि
राजस्थान सड़क
सुरक्षा सोसायटी
के सहयोग
से अच्छी
गुणवत्ता के
15
हजार हेलमेट
पशुपालकों को
उपलब्ध कराए
जा रहे
हैं। इसमें
कीमत के
मात्र 35 प्रतिशत
पर लाभार्थी
को हेलमेट
दिया जा
रहा है।
शेष अंशदान
दुग्ध संघ
तथा संबंधित
दुग्ध समिति
द्वारा वहन
किया जा
रहा है।
उन्होंने कहा
कि कोरोना
के इस
समय में
भी भीलवाड़ा
डेयरी अपने दुग्ध
उत्पादकों को
समय पर
भुगतान कर
रही है।
अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह रोहित कुमार सिंह ने भी संबोधित किया। इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त श्री निरंजन आर्य, शासन सचिव पशुपालन डॉ. राजेश शर्मा, परिवहन आयुक्त श्री रवि जैन, सूचना एवं जनसम्पर्क आयुक्त श्री महेन्द्र सोनी तथा एमडी आरसीडीएफ श्री केएल स्वामी भी इस अवसर पर मौजूद रहे।
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