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राज्यभर में पान मसाला बिक्री करने वाले प्रमुख व्यापारियों के व्यवसायिक स्थलों पर वाणिज्य कर विभाग कि सर्वेक्षण कार्रवाई


- लेखा पुस्तकों मैं घोषित स्टॉक और भौतिक रूप से पाए गए स्टॉक में भारी अनियमितता मिली

- लोक डाउन प्रभारी होने के बावजूद पान मसाला बिक्री की मिल रही थी जानकारी

- सीकर में व्यापारियों से 36 लाख एवं कोटा में 15 लाख की पेनल्टी वसूली

जयपुर, 19 अप्रेल। आज राज्य में पान मसाला बिक्री करने वाले प्रमुख व्यापारियों के व्यवसाय स्थल पर वाणिज्यिक कर आयुक्त श्री प्रीतम बी. यशवंत के निर्देशानुसार सर्वेक्षण कार्यवाही की गई। राज्य में लॉक डाउन प्रभावी होने के बावजूद पान मसाला बिक्री होने के संबंध में सूचना प्राप्त हो रही थी। अतः राज्य में पान मसाला के प्रमुख व्यापारियों के विरूद्ध जांच करने हेतु आयुक्त द्वारा निर्देश प्रसारित किये गये। सर्वेक्षण की कार्यवाही जयपुर, जोधपुर, कोटा, अजमेर, अलवर, उदयपुर, बीकानेर, सीकर, हिण्डौन सिटी, रानीवाड़ा तथा आबूरोड़ स्थित प्रमुख 19 पान मसाला डीलर्स के यहां पर की गई है। ये व्यवसायी राज्य में बिकने वाले सभी प्रमुख पान मसाला ब्राण्ड की बिक्री करते हैं। सभी व्यवसायियों के घर ऑफिस तथा गोदामों पर जांच की गई। सर्वेक्षण कार्यवाही को विभाग के 100 से अधिक अधिकारियों ने अंजाम दिया।

सर्वेक्षण दलों से प्राप्त प्रारंभिक जानकारी के अनुसार विभिन्न व्यवसायियों से खरीद बिक्री के रिकार्ड व कम्प्यूटर के डाटा को अभिग्रहित किया गया है व स्टॉक गणना की गई। अधिकतर व्यवसायियों के यहां पर लेखा पुस्तकों में घोषित स्टॉक तथा भौतिक रूप से पाये गये स्टॉक में भारी भिन्नता पायी गयी। इससे स्पष्ट है कि इन व्यवसायियों द्वारा पान मसाला की बिना बिल जारी किये उचंत रूप से बिक्री कर दी गई। सर्वेक्षण के दौरान व्यवसायियों द्वारा सीकर में 36.00 लाख रू. एवं कोटा में 15.00 लाख रू. मौके पर ही जमा करवाये गये। शेष व्यवसायियों पर विभागीय अधिकारियों द्वारा जांच उपरान्त कम पाये गये स्टॉक पर देय कर तथा पेनल्टी वसूल की जायेगी। इससे राज्य सरकार को काफी राजस्व प्राप्त होने की संभावना है।

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